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The Science of getting Rich|| D.WATTLES WALLANCE AND WALLANCE D. WATTLES

इंट्रोडक्शन (Introduction) क्या आप अमीर होने का ख्वाब देखते है? क्या आप एक अच्छी लाइफ जीना चाहते हो? क्या आप लाइफ में बेस्ट बनना चाहते हो? तो इस बुक में आप सक्सेस, हैप्पीनेस और अमीर बनने का सीक्रेट पढेंगे. आप चाहे जिस बैकग्राउंड से बिलोंग करते हो, फिर भी आप अमीर हो सकते हो. आपके सपने सच हो सकते है. क्योंकि ये बुक आपको अमीर बनने का एक्जेक्ट तरीका बताएगी. बस आपको वो टेक्नीक्स और गाइडलाइन्स फोलो करनी होगी जो इस बुक में दी गयी है. जो लाइफ आप जीना चाहते हो, आपसे ज्यादा दूर नहीं है. पर इसके लिए आपको एक सर्टेन वे में सोचना होगा. जो आपके पास है, आपको दूसरो के प्रति थैंकफुल होना चाहिए. आपकी कोशिश यही हो कि आप दूसरो के काम आ सके. आप इस बुक में पढ़ी हुई बातो को अपनी लाइफ में अप्लाई करोगे तो आपको कोई भी अमीर होने से नहीं रोक पायेगा.    द राईट टू बी रिच (The Right to be Rich) क्या अमीर होने की चाहत रखना गलत है? ऐसा कौन है जो एक आराम की लाइफ नहीं चाहता? क्या ये सपना देखना गलत है? नहीं, बिलकुल नहीं. अमीरी का मतलब सिर्फ पैसे से नहीं है. बल्कि इसका मतलब है कि आपके पास ऐसे टूल्स होने चाहिए जो

REWORK || HEINEMEIER HANSSON AND JASON FRIED

परिचय क्या कभी आपको अच्छा बिजनेस आइडिया आया लेकिन उसे लागू करने में आप झिझक रहे थे? क्या आप इसके नॉलेज ना होने पर और इस नए बिज़नेस में कितना समय देना पड़ेगा इस बात से डरते थे? क्या आपको मोटिवेशन तब मिली जब आपको पता चला कि आपके पास बहुत कॉम्पीटीशन करने की ताकत है? क्या लगता है, हर व्यक्ति जो एक बिज़नेस आईडिया के साथ आता है उसे इसका सामना करना पड़ता है। जेसन फ्राइड और डेविड हेनीमियर के पास एक अच्छा आईडिया था। और वे इसे लागू करने से डरते नहीं थे। और उन्होंने अपने अनुभव से जो कुछ सीखा, वह थोड़ा आश्चर्यचकित करने वाला है- आपको लंबे समय तक काम करने, बिज़नेस मीटिंग और दूसरे बोरिंग काम से डरना नहीं है।   जैसा कि आप इस (summary) में देखेंगे, आपको निवेशकों और पार्टनर्स को ढूढ़ने की आवश्यकता नहीं है (कम से कम शुरुआत में नहीं)। बिल्कुल इसके विपरीत। फ्राइड और हेनीमियर के अनुसार, इस तरह की चीजें वास्तव में आपके बिज़नेस में सफल होने की संभावनाओं में बाधा डालती हैं। और यह दो लोग कोई रैंडम व्यक्ति नहीं है, जिन्होंने एक किताब लिखने और पैसा कमाने का फैसला किया है। उन्होंने कुछ साल पहले अपनी रेप्युटे

THE COMPOUND EFFECT || DARREN HARDY

परिचय  कम्पाउंड इफेक्ट क्या है ?  समरी से पहले ये जान लेना ज़रूरी है कि डारेन हार्डी ने कम्पाउंड इफेक्ट किसे बोला है। तो इसे एक्सप्लेन करने के लिए इस बुक का एक एक्जाम्पल देख लेते है। अगर आपको दो पोसिबल ऑप्शन दिए जाए कि या तो आप 3 मिलियन डॉलर कैश ले जाए या फिर एक पेनी जो 31 दिनों तक हर रोज़ डबल होती रहे तो आप इसमें से कौन सा वाला ऑप्शन चूज़ करेंगे? ज़ाहिर है कि कोई भी इतना ज्यादा नहीं सोचेगा और नीचे दिए गए इन फैक्ट्स को कंसीडर करते हुए फर्स्ट वाला ऑप्शन ही चूज़ करेगा।:   1.    क्योंकि दुसरे वाले ऑप्शन के कंपेयर में ये ज्यादा पैसा लग रहा है।  2.    इसमें टाइम नहीं लगेगा क्योंकि आपको सारा पैसा एक साथ मिल रहा है।  3.    ये पैसा कैश में है।    हालांकि अगर हम इन दोनों ओपेशंस को थोडा बेसिक मैथमेटिक्स यूज़ करके गौर से समझने की कोशिश करे तो पता चलेगा कि ऐसी पैनी जो 31 दिनों तक हर रोज़ डबल होती है, असल में उसकी वैल्यू 11 मिलियन यूएसडी के बराबर होगी। हैं ना ये सरप्राइजिंग बात? इसका मतलब है कि अगर आप एक पैनी पर डे का ऑप्शन चूज़ करते है तो आपके पास 7 मिलियन यूएसडी ज्यादा होंगे उस इंसान से जो पह

ALIBABA:-THE HOUSE THAT JACKMA BUILT || DUCAN CLARK

चैप्टर 1: द आईरन ट्राएंगल (Chapter One: The Iron Triangle)   क्या आप जानते है कि यूनाइटेड स्टेट्स की टू थर्ड इकोनोमी एवरेज अमेरिकन हाउसहोल्ड्स के एक्स्पेंसेस के बराबर है, जबकि चाइना में ये मुश्किल से इकोनोमी का वन थर्ड है? ऐसा लगता है कि शायद बाकि डेवलप कंट्रीज़ के मुकाबले चाइनीज लोग ज्यादा कंज्यूम नहीं करते. ये लोग अपनी एजुकेशन, मेडिकल खर्चे, या रिटायरमेंट के लिए पैसा सेव करके रखते है. लेकिन ओल्ड हैबिट्स मुश्किल से छूटती है. लेकिन अब एक नयी हैबिट ऑनलाइन खरीददारी, चाइना के लोगो के बिहेवियर में चेंज ला रही है. और अलीबाबा इसके पीछे का मेन रीजन है. क्यों? क्योंकि अलीबाबा ने 2003 में पहली बार ताओबाओ (Taobao) लॉन्च किया था जोकि आज चाइना की थर्ड मोस्ट विजिटेड वेबसाईट है और वर्ल्ड की ट्वेल्थ. Then five years later, it became its own. जैक मा अपनी कंपनी की सक्सेस को एक एक्सीडेंट ही मानते है. अपने शुरुवाती सालो में, उसने अपनी कंपनी के टॉप तक पहुँचने के तीन रीजन बताये: “हमारे पास पैसा नहीं था, टेक्नोलोजी नहीं थी, और ना ही कोई प्लान था.”लेकिन वो तब की बात थी.यहाँ हम तीन रियल फैक्टर्स बत

START WITH WHY || SIMON SINEK

परिचय  क्यों से शुरुवात की मतलब है कि किसी भी काम को लेकर हम एक पर्पज के साथ आगे बढे. आपने कंपनी क्यों शुरू की थी ? लीडर क्यों बनना चाहते है आप? क्या जिंदगी में आपका कोई पर्पज है, अगर है तो क्या? ये सब सवाल फ़िज़ूल नहीं है, आपको ये बहुत काम के लगेंगे जब आपको पता चलेगा कि कई मल्टी-मिलियन कंपनीयां इसीलिए सक्सेसफुल हो पाई क्योंकि वे एक ख़ास पर्पज के लिए बनाई गयी थी. उन्होंने अपनी शुरुवात व्हाई के साथ की..   इस किताब का सब-टाइटल है “ कैसे ग्रेट लीडर्स ने लोगो को एक्शन लेने के लिए इंस्पायर किया” ग्रेट लीडर्स से हमारा मतलब सिर्फ उनसे नहीं है जो पोलिटिक्स में है बल्कि उन सबसे है जो किसी भी इंडस्ट्री की बड़ी बड़ी कंपनीयों में बड़ी पोस्ट पर होते है. एप्पल एक लीडिंग कंप्यूटर ब्रांड है लेकिन बाद में ये मोबाइल और छोटे इलेक्ट्रोनिक्स इंडस्ट्री में भी उतर गया. क्यों ? इसके बारे में हम बाद में जानेगे. लोगो को एक्शन के लिए इंस्पायर करना” यही ग्रेट लीडरो का काम होता है. एक अच्छा लीडर ना सिर्फ लोगो का वोट हासिल करता है बल्कि उन्हें इंस्पायर भी करता है. ठीक वैसे ही लीडिंग कंपनीज़ भी लोगो को अपना कस्

HOW TO THINK LIKE LEONARDO DA VINCI || MICHEAL GELB

इंट्रोडक्शन  क्या आपने लियोनार्डो डा विंची का नाम सुना है? कौन थे वो? वो एक जीनियस और महान कलाकार थे. उन्होंने कई बेहतरीन पेंटिंग्स बनाई थीं जिनमें से मोना लिसा और द लास्ट सपर को मास्टरपीस कहा जाने लगा. वो एक उम्दा कलाकार तो थे ही, इसके साथ-साथ उन्हें कई अलग-अलग फ़ील्ड के बारे में अच्छी खासी नॉलेज थी जैसे बॉटनी, एनाटोमी, मिलिट्री इंजीनियरिंग वगैरह. उनकी इस गहरी नॉलेज के लिए उन्हें renaissance पॉलीमैथ कहा जाता है यानी एक ऐसा आदमी जिसकी एक फील्ड में मास्टरी और expertise तो है ही लेकिन इसके साथ-साथ उसे लगभग हर फील्ड के बारे में बहुत डीप नॉलेज भी होती है.   लियोनार्डो की कई पेंटिंग को मास्टरपीस का टाइटल दिया गया जिनमें St. John the Baptist, Madonna of the Rocks, और Salvator Mundi शामिल हैं. डा विंची के काम को बहुत वाहवाही और तारीफ़ मिली लेकिन वो हमेशा विवादों में घिरकर चर्चा का कारण भी बने रहे. उनकी नोटबुक में बनाए उनके स्केच को उनकी पेंटिंग जितना ही कीमती माना जाता है.  उन्होंने घोड़ों, चेहरे, फूल यहाँ तक कि माँ के गर्भ में पल रहे बच्चे तक की इतनी सटीक और जीवंत तस्वीर बनाई है

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See You At The Top|| ZIG ZIGLAR

इंट्रोडक्शन (Introduction)   राल्फ वाल्डो एमर्सन (Ralph Waldo Emerson ) ने एक बार कहा था” बीता हुआ कल और आने वाला कल उतना इम्पोर्टेंट नहीं है जितना कि अभी जो हमारे अंदर चल रहा है वो इम्पोर्टेंट है”. तो आप अभी अपनी लाइफ में कहाँ पर है? क्या आपको लगता है कि आपने अपनी सारी एबिलिटीज यूज़ कर ली है? क्या आपने अब तक अपना बेस्ट किया है? या शायद आपको लगता है कि अभी तक आपने अपनी लाइफ में कुछ भी अचीव नहीं किया जो आप डिजर्व करते हो. अगर ऐसी बात है तो ये बुक summary आपके हिसाब से एकदम परफेक्ट चॉइस है. कई बार हम लोगो को देखते है और खुद से पूछते है” क्या मै भी कभी ऐसा बन पाउँगा…अगर मेरे पास ये होता या वो होता तो मै भी सक्सेसफुल होता. लेकिन ये बड़ी नेगेटिव थिंकिंग है. अभी इसी टाइम, इसी मोमेंट आपके पास वो सब कुछ है जो आपको सक्सेसफुल होने के लिए चाहिए. क्योंकि आपके पास आप खुद हो और वो सब कुछ है जो आपको टॉप पे ले जा सकता है. एक बड़ी पोपुलर स्टोरी है एक ओल्ड मेन के बारे में जो मरने वाला था. अपने आखिरी पलो में उस आदमी को पता चला कि जिस घर में वो इतने सालो से रह रहा था, उसके नीचे असल में सोने की

START WITH WHY || SIMON SINEK

परिचय  क्यों से शुरुवात की मतलब है कि किसी भी काम को लेकर हम एक पर्पज के साथ आगे बढे. आपने कंपनी क्यों शुरू की थी ? लीडर क्यों बनना चाहते है आप? क्या जिंदगी में आपका कोई पर्पज है, अगर है तो क्या? ये सब सवाल फ़िज़ूल नहीं है, आपको ये बहुत काम के लगेंगे जब आपको पता चलेगा कि कई मल्टी-मिलियन कंपनीयां इसीलिए सक्सेसफुल हो पाई क्योंकि वे एक ख़ास पर्पज के लिए बनाई गयी थी. उन्होंने अपनी शुरुवात व्हाई के साथ की..   इस किताब का सब-टाइटल है “ कैसे ग्रेट लीडर्स ने लोगो को एक्शन लेने के लिए इंस्पायर किया” ग्रेट लीडर्स से हमारा मतलब सिर्फ उनसे नहीं है जो पोलिटिक्स में है बल्कि उन सबसे है जो किसी भी इंडस्ट्री की बड़ी बड़ी कंपनीयों में बड़ी पोस्ट पर होते है. एप्पल एक लीडिंग कंप्यूटर ब्रांड है लेकिन बाद में ये मोबाइल और छोटे इलेक्ट्रोनिक्स इंडस्ट्री में भी उतर गया. क्यों ? इसके बारे में हम बाद में जानेगे. लोगो को एक्शन के लिए इंस्पायर करना” यही ग्रेट लीडरो का काम होता है. एक अच्छा लीडर ना सिर्फ लोगो का वोट हासिल करता है बल्कि उन्हें इंस्पायर भी करता है. ठीक वैसे ही लीडिंग कंपनीज़ भी लोगो को अपना कस्

The power of Habit ||

भूमिका आज सुबह जब आप नींद से जगे, आपने सबसे पहले क्या किया? लपक कर शावर के नीचे चले गए, ईमेल चेक किया, या किचन काउंटर से एक डोनट उठा लिया? आपने नहाने से पहले दाँतों को ब्रश किया या बाद में?  काम पर किस रास्ते से ड्राइव करते हुए गए? जब आप घर लौटे, तब क्या आपने स्नीकर्स पहना और दौड़ने निकल पड़े, या अपने लिए एक ड्रिंक ग्लास में डाला और टीवी के सामने डिनर के लिए बैठ गए? विलियम जेम्स ने 1892 में लिखा था, “हमारा पूरा जीवन, जब तक यह एक निश्चित आकार में है, आदतों का पुंज है ।” हर दिन किए गए चुनाव हमें सोच-समझ कर लिए गए निर्णयों के परिणाम लग सकते हैं, पर वे हैं नहीं। वे आदतें हैं। और हालांकि हर आदत का अपने-आप में कुछ मायने नहीं होता, समय के साथ, हम किस खाने का ऑर्डर देते हैं, बचत करते हैं या खर्च करते हैं, कितने अक्सर कसरत करते हैं, और जिस तरह हम आपनी सोचों और काम की रूटीन को संवारते हैं – इनका हमारे स्वास्थ्य, प्रोडक्टिविटी, फायनैंशियल सिक्योरिटी और प्रसन्नता पर बहुत बड़ा प्रभाव पड़ता है। 2006 में प्रकाशित किए गए ड्यूक यूनिवर्सिटी के एक रिसर्चर के पेपर ने पाया कि लोगों द्वारा किए गए 40 प्रतिशत